विजीलैंस ब्यूरो द्वारा प्लाट की अलॉटमैंट से सम्बन्धित सरकारी रिकॉर्ड को नष्ट करने के लिए गमाडा का अस्टेट अफ़सर गिरफ़्तार
Punjab Vigilance Bureau
चंडीगढ़, 24 जनवरीः Punjab Vigilance Bureau: पंजाब विजीलैंस ब्यूरो ने मंगलवार को महेश बांसल, अस्टेट अफ़सर (तालमेल), गमाडा, मोहाली को भ्रष्टाचार रोकथाम एक्ट की धारा 13 (1)(ए) और 13 (2) और आई. पी. सी. की धारा 409, 420, 120-बी के अधीन पुलिस थाना फ्लायंग स्कुऐड, पंजाब, मोहाली में दर्ज एफआईआर नंबर 03, तारीख़ 17. 01. 2023 के सम्बन्ध में गिरफ़्तार किया है।
इस सम्बन्धी जानकारी देते हुये विजीलैंस ब्यूरो के प्रवक्ता ने बताया कि उपरोक्त केस उमेश गोयल, सैक्टर 80, एसएएस नगर की शिकायत पर महेश बांसल, सुनेहरा सिंह निवासी सोनीपत, हरियाणा, डॉ. परमिन्दरजीत सिंह, दलजीत सिंह, सीनियर सहायक और रिकॉर्ड कीपर गुरदीप सिंह के खि़लाफ़ उक्त मामला दर्ज किया गया है।
उन्होंने आगे बताया कि उपरोक्त शिकायत की जांच के उपरांत यह बात सामने आई थी कि गमाडा की तरफ से मोहाली में 500 वर्ग हाथी का एक रिहायशी प्लाट 2016 में सुनेहरा सिंह के नाम पर अलॉट किया गया था। उपरांत सुनेहरा सिंह ने शिकायतकर्ता उमेश गोयल के साथ 29.05.2017 को इस प्लाट की बिक्री के लिए समझौता लिखा, परन्तु इस खरीद/बिक्री की प्रक्रिया पूरी होने से पहले ही अलॉटी ने यह प्लाट डॉ. परमिन्दरजीत सिंह और अन्यों के नाम पर तबदील कर दिया। शिकायतकर्ता ने उक्त प्लाट किसी भी पक्ष को तबदील न करने सम्बन्धी उक्त अस्टेट अफ़सर (ई.ओ) गमाडा के पास दो आवेदन-पत्र दायर किये, परन्तु कथित मुलजिम महेश बांसल, ई. ओ, गमाडा ने शिकायतकर्ता उमेश गोयल को सुनवाई का कोई मौका न देकर परमिन्दरजीत सिंह और अन्यों के साथ मिलीभुगत करके उक्त प्लाट परमिन्दरजीत के नाम पर ट्रांसफर करवा दिया और दफ़्तर से सम्बन्धित फाइल को गबन/नष्ट कर दिया।
प्रवक्ता ने आगे बताया कि इस केस में मुलजिम महेश बांसल ई. ओ, गमाडा को गिरफ़्तार कर लिया गया है और इस मामले में बाकी दोषियों की गिरफ़्तारी के लिए प्रयत्न किये जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि इस मामले की आगे जांच जारी है।
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